Close Menu
    Facebook X (Twitter) Instagram
    • होम
    • हिमाचल
    • सिरमौर
    • क्राइम
    • दुर्घटनाएं
    • राजनैतिक
    Sunday, July 13
    NewsOnFaceNewsOnFace
    • होम
    • हिमाचल
    • सिरमौर
    • क्राइम
    • दुर्घटनाएं
    • राजनैतिक
    NewsOnFaceNewsOnFace
    Home»सिरमौर»….मामूली से वेतन मे जीवित रहने के लिए मजबूर हैं आंगनवाड़ी वर्करज और हेल्परज… 5 दशको से नहीं मिला श्रमिक का हक
    सिरमौर

    ….मामूली से वेतन मे जीवित रहने के लिए मजबूर हैं आंगनवाड़ी वर्करज और हेल्परज… 5 दशको से नहीं मिला श्रमिक का हक

    By Ajay DhimanNovember 17, 2024
    Facebook Twitter WhatsApp

    नाहन: आज नाहन में आंगनवाड़ी वर्करज एवं हेल्परज यूनियन संबंधित सीटू की बैठक जिला उपाध्यक्ष शीला ठाकुर की अध्यक्षता में सम्पन्न हुई । बैठक को सीटू जिला महसचिव आशीष कुमार ने सम्बोधित करते हुए कहा की
    कि एकीकृत बाल विकास सेवा (आईसीडीएस) योजना, जिसे अब सक्षम आंगनवाड़ी और पोषण 2.0 कहा जाता है, 2025 में 50 साल पूरे करने जा रही है। जैसा कि आप जानते हैं, यह योजना मानवता के सबसे बड़े खतरे यानि कुपोषण और भूख – जो हमारे देश जोकि दुनिया के आधे कुपोषित बच्चों का घर है, को संबोधित करने वाली दुनिया की सबसे बड़ी योजना है। । यह व्यापक रूप से स्वीकार किया गया है कि पिछले वर्षों में सार्वभौमिक आईसीडीएस ने हमारे देश को मातृ एवं शिशु मृत्यु दर के मुद्दों को संबोधित करने और बच्चों में कुपोषण को काफी हद तक कम करने में मदद की है, हालांकि अभी भी बहुत कुछ करने की आवश्यकता है। बैठक को सम्बोधित करते हुए सीटू जिला महसचिव आशीष कुमार और आंगनवाड़ी जिला उपाध्यक्ष देव कुमारी,शायमा शर्मा ने कहा की आप इस बात से भी सहमत होंगे कि लगभग 14 लाख आंगनवाड़ी केंद्रों के माध्यम से लगभग 25 लाख आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं का निस्वार्थ समर्पित कार्य, देश और इसके विकास के लिए बहुत महत्वपूर्ण है।

    यह राष्ट्रीय शर्म की बात है कि पांच दशकों के समर्पित कार्य के बाद भी, उन्हें अभी भी श्रमिकों के रूप में मान्यता नहीं दी गई है और वे मामूली से वेतन मे जीवित रहने के लिए मजबूर हैं, जो सरकार द्वारा परिभाषित वैधानिक न्यूनतम मजदूरी के पांचवें हिस्से से भी कम है। यह भी ध्यान दिया जाना चाहिए कि आंगनवाड़ी केंद्रों में उचित बुनियादी ढांचे और अच्छी गुणवत्ता वाले पोषण का अभाव है। यह भी एक गंभीर मुद्दा है कि आजादी के पचहत्तर साल बाद भी हमारे देश के बच्चों को प्रारंभिक बचपन की देखभाल, शिक्षा और विकास (ईसीसीडी) का कानूनी अधिकार नहीं है।
    गुजरात के माननीय उच्च न्यायालय ने आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को तृतीय और चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों के रूप में नियमित करने के लिए एक आदेश (2 अगस्त 2024 को और 30 अक्टूबर 2024 को अपलोड किया है) दिया है, इसे लागू करने के लिए छह महीने के भीतर उपाय करने और इसके लंबित रहने तक न्यूनतम वेतन का भुगतान करने के लिए कहा है। इसके इलावा भारत के माननीय सर्वोच्च न्यायालय ने अप्रैल 2022 की शुरुआत में आदेश दिया था कि आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाएं ग्रेच्युटी की हकदार हैं और केंद्र और राज्य सरकार को आंगनवाड़ी कर्मचारियों की कामकाजी परिस्थितियों में सुधार करने का निर्देश दिया है क्योंकि वे आरटीएफ और आरटीई अधिनियम के तहत वैधानिक कार्य करते हैं।

    यह गंभीर चिंता का विषय है कि जब आईसीडीएस को मजबूत करना देश की प्राथमिक आवश्यकता है, तो पिछले एक दशक से केंद्र सरकारें ऐसी नीतियां बना रही हैं और ऐसे कदम उठा रही है जो आईसीडीएस को कमजोर करती हैं और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को इससे वंचित करती हैं। आईसीडीएस के बजट में भारी कटौती की गई है। पिछले छह साल से अधिक समय से वेतन नहीं बढ़ाया गया है। कोई सेवानिवृत्ति लाभ नहीं हैं। इसके अलावा, इस योजना के निजीकरण के लिए वेदांता जैसे कॉरपोरेट्स और विभिन्न गैर सरकारी संगठनों के साथ-साथ विभिन्न तरीके से कई प्रयास किए गए हैं। एनईपी 2020 के तहत आईसीडीस के प्री-स्कूल घटक को स्कूली शिक्षा प्रणाली से हटा दिया गया है।
    इसके अलावा, आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को समय से वेतन, किराया, टीए/डीए, वर्दी, आंगनवाड़ी केंद्रों में सुविधाओं के लिए राशि आदि का समय से न मिलना, गैर-आईसीडीएस अतिरिक्त काम जैसी विभिन्न समस्याओं का सामना करना पड़ता है। डिजिटलीकरण के नाम पर कार्यकर्ताओं को धमकी और उत्पीड़न जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। आधार लिंकिंग और ई केवाईसी के नाम पर लाभुकों को अवैध तरीके से बाहर करने की धमकी दी जा रही है।

    यह भी दुर्भाग्यपूर्ण है कि आपकी सरकार और मंत्रालय ने इस प्रतिष्ठित योजना की स्वर्ण जयंती मनाने की बात तो दूर, इसे मजबूत करने के लिए जायजा लेने और कदम उठाने की योजना भी नहीं बनाई है। बैठक में फरवरी माह में दिल्ली प्रदर्शन के लिए जिला से हजारों की संख्या में यूनियन के लोग प्रदर्शन करेंगे यूनियन पदाधिकारियों ने साफ साफ कहा की विभाग मिन्नी आंगनवाड़ी वर्करज का वेतन तुरंत प्रभाव से प्रदान करें और अच्छी गुणवता वाले फोन दे और रिचार्ज के रेट में भी वृद्धिंकी जाये । बैठक में , देव कुमारी, शमा, हास्ता, सुमित्रा , अंजू ,अनिता, कमला, पूजा, आदि दर्जनों आंगनवाड़ी कार्यकर्ता शामिल हुई बैठक में फरवरी माह में निम्न मांगों को।लेकर दिल्ली में प्रदर्शन की रूप रेखा तैयार की
    1. आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं के नियमितीकरण पर गुजरात उच्च न्यायालय के आदेश और ग्रेच्युटी देने के सर्वोच्च न्यायालय के आदेश को तुरंत लागू करें।
    2. छह साल से कम उम्र के बच्चों के लिए प्रारंभिक बचपन देखभाल और शिक्षा का अधिकार (ईसीसीई) सुनिश्चित करने के लिए आंगनवाड़ी केंद्रों को नोडल एजेंसियों के रूप में सुनिश्चित करने के लिए कानून बनाएं। एनईपी 2020 को वापस लें। ईसीसीई को औपचारिक शिक्षा प्रणाली से न जोड़ा जाए।
    3. हमारे देश के सामने आने वाली सबसे बड़ी चुनौती कुपोषण और भूख को, विशेषकर बच्चों में, समयबद्ध तरीके से हल करने के लिए तत्काल उपाय करें। आंगनबाड़ियों में पोषण की गुणवत्ता में सुधार लाएं। सभी महिलाओं के लिए सभी प्रसवों के लिए बढ़ी हुई राशि के साथ मातृत्व लाभ का अधिकार सुनिश्चित किया जाए।
    4. उचित बुनियादी ढांचे और आवश्यक मानव संसाधन के साथ स्थानीय जरूरतों का ख्याल रखते हुए ईसीसीई कानून के तहत आईसीडीएस (सक्षम आंगनवाड़ी और पोषण 2.0) को आंगनवाड़ी सह क्रेच के रूप में संस्थागत बनाया जाए। पर्याप्त धनराशि के साथ आंगनबाड़ियों में मौजूदा प्रावधानों का प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित करें। रिक्त पदों पर भर्ती की जाए।
    5. 45वें और 46वें भारतीय श्रम सम्मेलन की सिफारिशों को लागू करने के लिए तत्काल उपाय करें और उन्हें न्यूनतम वेतन @26,000 रुपये प्रति माह, पेंशन @10000 रुपये प्रति माह और पीएफ और ईएसआई सहित अन्य सभी सामाजिक सुरक्षा उपाय प्रदान करें।
    6. आईसीडीएस को कमजोर करने वाले सभी कदमों को वापस लें, जैसे लाभार्थियों को सीधे नकद हस्तांतरण, योजनाओं के लाभ के लिए आधार को अनिवार्य रूप से जोड़ना, योजनाओं के डिजिटलीकरण के नाम पर लक्ष्यीकरण और निगरानी, केंद्रीकृत रसोई की शुरूआत द्वारा निजीकरण आदि।

    .. चकरेड़ा मोहल्ला में ओवरलोड से जला ट्रांसफार्मर, रात बैठ कर काटी चकरेड़ा मोहल्ला व वाल्मीकि के लोगों ने …. बिजली कर्मचारियों ने सुबह किया ट्रांसफॉर्म ठीक …

    July 13, 2025

    ……. चौगान मैदान में रात को मचाते हैं युवा हुड़दंग.. लोग परेशान..

    July 12, 2025

    ….मनदीप ठाकुर बने एनएसयुआई जिला सिरमौर के नए अध्यक्ष..

    July 12, 2025

    … पकड़े जाने पर चोर ने दिखाई ईमानदारी चोरी का सामान लौटाया…. मलिक ने भी शिकायत… वापस ली…

    July 11, 2025
    NewsOnFace
    Facebook X (Twitter) Instagram YouTube
    © 2025

    Type above and press Enter to search. Press Esc to cancel.